Friday, January 25, 2013

सारे जहाँ से अच्छा

सारे जहाँ से अच्छा
हिन्दोस्तां हमारा
हम बुलबुलें हैं इसकी
वो गुलिस्तां हमारा
                                               
परबत वो सबसे ऊँचा
हमसाया आसमां का
वो संतरी हमारा
वो पासबां हमारा
                                                
गोदी में खेलती हैं
जिसके हज़ारों नदियाँ
गुलशन है जिसके दम से
रश्क–ए–जिनां हमारा
                                                
मज़हब नहीं सिखाता
आपस में बैर रखना
हिन्दी हैं हम, वतन है
हिन्दोस्तां हमारा
 
— मुहम्मद इक़बाल

4 comments:

Chaitanyaa Sharma said...

साझा करने का आभार ..जय हिन्द

Unknown said...


सुन्दर ,सटीक और सार्थक . बधाई
सादर मदन .कभी यहाँ पर भी पधारें .
http://saxenamadanmohan.blogspot.in/

Unknown said...

मुझे आपका blog बहुत अच्छा लगा। मैं एक Social Worker हूं और Jkhealthworld.com के माध्यम से लोगों को स्वास्थ्य के बारे में जानकारियां देता हूं। मुझे लगता है कि आपको इस website को देखना चाहिए। यदि आपको यह website पसंद आये तो अपने blog पर इसे Link करें। क्योंकि यह जनकल्याण के लिए हैं।
Health World in Hindi

brij's bhalla said...

aapne baahut hi acchi jankari di he hameyye blog padh kar bahut khushi huvi.